समझौता दो या अधिक व्यक्तियों, संगठनों या राज्यों के बीच होने वाली एक समझदार या उपयोगी अनुबंध होता है। यह एक स्थिर समझौता होता है, जिसमें समझौता हुआ पक्ष अपने अधिकारों को त्यागकर एक स्थिरता स्थापित करता है। समझौता अक्सर विभिन्न पक्षों के बीच विवादों को संगत बनाने के लिए किया जाता है, जो संबंधों को मजबूत करता है और सहयोग बढ़ाता है। समझौते न्यायाधीशों द्वारा भी किए जा सकते हैं, जो विवादों को निपटाने के लिए न्यायाधीशों के बीच एक समझौता स्थापित करते हैं।
समझौते की जरूरत क्यों पड़ती है?
समझौते की जरूरत अक्सर विभिन्न पक्षों के बीच उत्पन्न होने वाले विवादों को संगत बनाने के लिए पड़ती है। ये विवाद विभिन्न कारणों से हो सकते हैं, जैसे सीमा विवाद, व्यापार विवाद, सामाजिक या राजनीतिक विवाद आदि।
विवादों के समाधान के लिए समझौता एक उपयोगी और सुगम माध्यम होता है। इससे दोनों पक्षों के बीच एक सामंजस्य बनाया जा सकता है जो दोनों के लाभ के आधार पर घट सकता है। समझौता एक उचित और समझदार रास्ता होता है जिससे दोनों पक्षों के बीच संबंध बनाए रखने में मदद मिलती है। इससे संबंधों को मजबूत बनाया जा सकता है और विवादों के निपटान में मदद मिलती है।
चर्चित समझौते
दुनिया में कई ऐसे समझौते हुए हैं जो बहुत चर्चित हुए हैं। यहां कुछ चर्चित समझौतों के बारे में बताया जा रहा है:
पेरिस समझौता - यह समझौता पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए 2015 में फ्रांस के पेरिस में हुआ था। इसमें 195 देशों ने हिस्सा लिया था और इसका मुख्य उद्देश्य विश्व के ऊर्जा उत्पादन और उपभोक्ता क्षेत्र में कार्बन एमिशन कम करने के लिए था।
विंसटन समझौता - यह समझौता 1995 में अमेरिका के विंसटन में हुआ था, जिसमें भारत और पाकिस्तान के बीच शांति के लिए समझौता किया गया था। इस समझौते में दोनों देशों ने एक-दूसरे को शांति बनाए रखने के लिए वाद-विवाद के समाधान के लिए एक संयुक्त समिति की स्थापना की थी।
ओस्लो समझौता - यह समझौता 1993 में नॉर्वे के ओस्लो में हुआ था, जिसमें इजरायल और पैलेस्टाइन के बीच शांति के लिए समझौता किया गया था।
शिमला समझौता: यह समझौता 1972 में भारत और पाकिस्तान के बीच हुआ था। इस समझौते के माध्यम से दोनों देशों ने कश्मीर मुद्दे पर चर्चा की थी और एक अनुबंध बनाया गया था जिसमें कश्मीर के स्थिति को स्थिर करने के लिए कुछ अहम नियम बनाए गए थे।
लाहौर समझौता: यह समझौता 1999 में भारत और पाकिस्तान के बीच हुआ था। इस समझौते के माध्यम से दोनों देशों ने कश्मीर मुद्दे के समाधान के लिए चर्चा की थी और एक व्यापक समझौता हुआ था जिसमें दोनों देशों ने सीमावर्ती क्षेत्रों में आतंकी गतिविधियों को रोकने के लिए कई नियम बनाए थे।